कीव. रूस ने यूक्रेन की राजधानी कीव पर शनिवार को बड़ी संख्या में ड्रोन और मिसाइल दागीं, जिससे कम से कम दो लोगों की मौत हो गई और 15 अन्य घायल हो गए. यूक्रेनी अधिकारियों ने रविवार को यह जानकारी दी. इसे फरवरी 2022 में दोनों देशों के बीच युद्ध शुरू होने के बाद से यूक्रेन पर रूस का सबसे बड़ा हमला माना जा रहा है. रविवार को हुए इस हमले के बाद एक प्रमुख सरकारी इमारत की छत से धुआं उठता दिखाई दिया. अधिकारियों ने बताया कि रूस ने यूक्रेन पर 805 ड्रोन से हमला किया.
यूक्रेन की वायु सेना के प्रवक्ता यूरी इहनाट ने पुष्टि की कि रविवार का हमला यूक्रेन पर पूर्ण आक्रमण शुरू होने के बाद से अब तक का सबसे बड़ा रूसी ड्रोन हमला था. रूस ने विभिन्न प्रकार की 13 मिसाइल भी दागीं. वायु सेना के एक बयान के अनुसार, यूक्रेन ने 747 रूसी ड्रोन और चार मिसाइलों को मार गिराया या नि्क्रिरय कर दिया.
यूक्रेन में 37 जगहों पर नौ मिसाइल हमले और 56 ड्रोन हमले हुए. मार गिराए गए ड्रोन और मिसाइलों का मलबा आठ जगहों पर गिरा.
‘एसोसिएटेड प्रेस’ के पत्रकारों ने एक सरकारी इमारत की छत से धुएं का गुबार उठता देखा, लेकिन यह स्पष्ट नहीं हो सका कि यह धुआं हमले के कारण उठा या अन्य कोई कारण है. माना जा रहा है कि अगर धुआं किसी हमले के कारण उठा, तो रूस ने हवाई हमले तेज किए हैं. रूस अब तक शहर के केंद्र में सरकारी इमारतों को निशाना बनाने से बचता रहा है.
यह इमारत यूक्रेन के मंत्रिमंडल का मुख्यालय है, जहां उसके मंत्रियों के कार्यालय स्थित हैं. दमकल गाड़ियों और एम्बुलेंस के पहुंचने पर पुलिस ने इमारत में प्रवेश रोक दिया. यूक्रेनी अधिकारियों ने बताया कि हमले में दो लोग मारे गए और 15 घायल हुए. यूक्रेन की प्रधानमंत्री यूलिया स्विरीडेंको ने कहा, ”पहली बार दुश्मन के हमले में सरकारी इमारत को नुकसान पहुंचा है. हम इमारतों का जीर्णोद्धार करेंगे, लेकिन जो जानें चली गईं, उन्हें वापस नहीं लाया जा सकता.” कीव के मेयर विटालि क्लिट्स्को के मुताबिक, रूसी ड्रोन का मलबा स्वियातोशिन्स्की में नौ मंजिला आवासीय इमारत और डार्न्स्किकी में चार मंजिला आवासीय इमारत पर गिरा.
यह हमला ऐसे समय में हुआ है, जब यूरोपीय नेताओं ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पर युद्ध समाप्त करने की दिशा में कदम उठाने का दबाव बढ.ा दिया है. इससे पहले, यूक्रेन के 26 सहयोगी देशों ने युद्ध समाप्त होने के बाद वहां ‘आश्वासन बल’ के रूप में सेना तैनात करने का वादा किया था.