नयी दिल्ली. रक्षा मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि भारत-मंगोलिया द्विपक्षीय सैन्य अभ्यास ‘नोमैडिक एलीफेंट’ और मंगोलिया में आगामी बहुराष्ट्रीय अभ्यास ‘खान क्वेस्ट’ भारत की ”मजबूत होती रक्षा कूटनीति” में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है. मंत्रालय ने कहा कि इससे मंगोलिया के साथ भारत की साझेदारी का रणनीतिक महत्व रेखांकित होता है. ‘नोमैडिक एलीफेंट’ अभ्यास का 17वां संस्करण शुक्रवार को उलानबातर में संपन्न हुआ, जबकि अभ्यास ‘खान क्वेस्ट’ 14 जून से मंगोलिया में शुरू होगा.
रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह, ‘ऑपरेशनल लॉजिस्टिक्स एवं स्ट्रैटेजिक मूवमेंट’ के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल पुष्पेन्द्र सिंह के साथ ‘नोमैडिक एलीफेंट’ अभ्यास के समापन समारोह में शामिल हुए. मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ह्लनोमैडिक एलीफेंट और खान क्वेस्ट अभ्यासों का आयोजन भारत की विस्तारित रक्षा संबंधी कूटनीति में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है और मंगोलिया के साथ इसकी साझेदारी के रणनीतिक महत्व को दर्शाता है.ह्व भारतीय सेना की एक टुकड़ी ने उलानबातर में दो सप्ताह तक चले अभ्यास में सक्रिय रूप से भाग लिया. टुकड़ी में मुख्य रूप से अरुणाचल स्काउट्स की एक बटालियन के 45 कर्मी शामिल थे.
बयान में कहा गया है, ह्लसंयुक्त प्रशिक्षण का उद्देश्य संयुक्त राष्ट्र के आदेश के तहत अर्ध-शहरी और पहाड़ी इलाकों में अर्ध-पारंपरिक परिदृश्यों में एक संयुक्त कार्य बल के रूप में काम करते हुए भारतीय सेना और मंगोलियाई सशस्त्र बलों के बीच संचालन को परस्पर बढ़ाना था.ह्व रक्षा सचिव सिंह ने नोमैडिक एलीफेंट अभ्यास के दौरान भारतीय सैनिकों के कामकाज, समर्पण और आचरण की सराहना की.